फतेह लाइव, रिपोर्टर.
झारखंड के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने एमजीएम अस्पताल में हुई दर्दनाक घटना पर अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए कहा है कि सरयू राय को इस घटना को लेकर राजनीतिक बयानबाजी छोड़कर सार्वजनिक तौर पर माफ़ी मांगनी चाहिए और जनहित के मामले में अड़ंगाबाजी बंद करना चाहिए. उन्होंने कहा कि अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने महसूस किया कि पुरानी बिल्डिंग जर्जर हो चुकी है, अब मरीजों का इलाज संभव नहीं. कभी भी कोई घटना हो सकती है. इसलिए मैंने एक तरफ साकची एमजीएम अस्पताल में ही नए अस्पताल की नींव रखी, जिसका निर्माण कार्य चल रहा है. दूसरी तरफ मैंने डिमना स्थित अस्पताल को शुरू करने की दिशा में महत्वपूर्ण पहल की. पहले ओपीडी फिर पूरे अस्पताल को शिफ्ट करने का निर्देश मैंने दिया था और इस दिशा में कार्य भी हुआ.
जब बिल्डिंग का निर्माण कार्य तेज होने लगा तो सरयू राय जो पूर्व में कैबिनेट मिनिस्टर और इस क्षेत्र के विधायक भी थे. तब उन्होंने कभी भी अस्पताल का भ्रमण नहीं किया, ना ही कभी अस्पताल में पानी की सुविधा या बिजली की सुविधा पर गौर किया, लेकिन मेरे अस्पताल को पूरा करने और शिफ्ट करने के प्रयास के दौरान बार बार अड़ंगा लगाया. कार्य रोकने का प्रयास किया. कभी बोरिंग करने का काम रुकवा दिया, जिससे अस्पताल में पानी नहीं मिल पाया और अस्पताल शिफ्ट नहीं हो पाया.
विधायक बनने के बाद अस्पताल भ्रमण के बहाने उन्होंने अस्पताल प्रबंधन, स्वास्थ्य विभाग और निर्माण करने वाले ठेकेदार पर प्रेसर बनाया कि कार्य धीमा हो जाये और निर्माण कार्य लेट हो. आज परिणाम है कि पेयजल की व्यवस्था नहीं हो पाई, और अस्पताल शिफ्ट नहीं हुआ, जिस कारण इतनी बड़ी घटना हो गई. उन्होंने बताया कि हेमंत सरकार संवेदनशील है और मृतकों के प्रति मानवीय दृष्टिकोण के साथ उनके परिवार के साथ खड़ी है और जल्द ही एमजीएम को नए अस्पताल बिल्डिंग में शिफ्ट करने को प्रतिबद्ध है, ताकि लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सेवा मिल सके.