फतेह लाइव, रिपोर्टर.
जमशेदपुर समेत पूरे झारखंड में ट्रैफिक नियमों का पालन करना अधिकारियों ने सुनिश्चित किया है, ताकि तेजी से बढ़ते वाहन दुर्घटनाओं में कमी लाई जा सके. इसे लेकर शहर के कोने कोने में ट्रैफिक जांच जोर शोर से चलाई जा रही है. ट्रैफिक कर्मी बखूबी ड्यूटी भी निभाते देखे जाते हैं. सुबह सुबह समय से चेकिंग स्थल पर पहुंचकर बखूबी ड्यूटी में अपनी कर्तव्यनिष्ठता का पालन दिखाई देते हैं, लेकिन इस चेकिंग अभियान में कर्मचारी किस प्रकार जांच करते हैं इसका नजारा बुधवार सुबह परसुडीह थाना के सामने देखा गया. यहां एक पुरानी सफेद रंग की मारुती 800 कार संख्या बीआर14ई – 5923 को चेकिंग में तैनात कर्मी ने रोका. उस वक्त 8.15 बजे होंगे.
फिर मामला एएसआई ललन सिंह के पास गया. वहां से थोड़ी में ही कार मालिक अपनी कार को लेकर चलते हुआ. अब सवाल उठता है कि इस कार को ट्रैफिक अधिकारी ने किस आधार पर छोड़ा. क्या कार के कागजात की जांच की गई. जाहिर है इस कार का रजिस्ट्रेशन फेल ही रहा होगा, फिर ऐसे में ट्रैफिक जांच के नियमों की अवहेलना का मामला बनता है, जो जांच होगी तो हर चेकिंग पॉइंट पर उजागर हो सकता है. इसे लेकर वहां मौजूद लोग आपस में तरह तरह की चर्चा करते सुने गए.
जांच के नाम पर किस तरह की खेला की जा रही है. इससे सहज ही अंदाजा लगाया जा सकता है. ऐसा ही नजारा लगभग सभी जांच स्थल पर बना रहता है. बागबेड़ा चाईबासा स्टैंड के पास भी जांच के नाम पर दूसरे राज्यों की गाड़ियों की लंबी कतार दिन भर लगी रहती है और उसी बीच कई आपराधिक किस्म के लोग आसानी से आवाजही करते हैं. क्या यह जांच केवल राजस्व वसूली को लेकर है? जो ट्रैफिक नियम बनाये गए हैं. उसको लागू कराना जांच अधिकारियो की जवाबदेही नहीं है. इन नियमों का पालन यदि सख्ती
रजिस्ट्रेशन फेल वाहन दौड़ रहे
शहर में सैकड़ों रजिस्ट्रेशन फेल हो चुके वाहन दौड़ रहे हैं. उनकी धड़पकड़ नहीं होने से भी क्राइम बढ़ रहा है. ऐसा कहना गलत नहीं होगा. लोग ऐसे वाहनों को मॉडिफाई करा रहे हैं और सड़को पर दौड़ा रहे हैं. ये वाहन कभी भी बड़ी सड़क दुर्घटना को दावत दे सकते हैं.