- हथकड़ी पहन लगाए सरकार के खिलाफ नारे, विदेश मंत्री ने भी किया पलटवार
फतेह लाइव, रिपोर्टर
अमेरिका द्वारा डिपोर्ट किए गए 104 भारतीय नागरिकों का मामला अब संसद में गरमा गया है. 6 फरवरी को बजट सत्र के पांचवें दिन कांग्रेस नेता राहुल गांधी, प्रियंका गांधी, और अन्य विपक्षी नेताओं ने हाथ में जंजीर और पोस्टर लेकर मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. इस दौरान कुछ सांसदों के हाथ में हथकड़ियां भी दिखाई दीं, जिन पर “बेड़ियों में हिंदुस्तान, नहीं सहेंगे ये अपमान” लिखा हुआ था. विपक्षी नेताओं ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार की नीतियों के कारण भारतीय नागरिकों का अपमान हुआ है. प्रियंका गांधी ने केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि यदि प्रधानमंत्री मोदी और अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप के बीच घनिष्ठ मित्रता है, तो फिर ऐसा क्यों हुआ कि मोदी जी ने भारतीयों के साथ यह अन्याय होने दिया? शशि थरूर ने भी इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि भारतीय नागरिकों को अवैध तरीके से अमेरिका में रहने के कारण वापस भेजा गया था, लेकिन यह असामान्य था कि उन्हें सैन्य विमान से वापस भेजने के दौरान हथकड़ियों में जकड़ा गया.
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विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने विपक्ष के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि यह कोई नया मामला नहीं है, डिपोर्टेशन की प्रक्रिया 2009 से चल रही है. उन्होंने यह भी कहा कि भारतीय सरकार अवैध मूवमेंट के खिलाफ है, क्योंकि इससे कई खतरे उत्पन्न हो सकते हैं. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि डिपोर्टेशन के दौरान भारतीय नागरिकों के साथ कोई भी बुरा व्यवहार नहीं किया गया है. यह घटना 5 फरवरी को हुई, जब अमेरिकी सरकार ने अवैध रूप से अमेरिका में रह रहे 104 भारतीयों को भारत भेजा. इन भारतीयों को अमृतसर एयरपोर्ट पर उतरते समय उनके हाथ-पैर बेड़ियों से बांधे गए थे, जिससे यह मामला राजनीतिक चर्चाओं का विषय बन गया.