- खड़ियासाई गांव में 14 वर्षों से प्रमाण पत्र से वंचित बच्चों के लिए शुरू हुई प्रक्रिया
फतेह लाइव, रिपोर्टर






































जमशेदपुर के पोटका प्रखंड अंतर्गत हेंसलबिल पंचायत के खड़ियासाई गांव में जिला विधिक सेवा प्राधिकार (डालसा) की पहल पर जन्म प्रमाण पत्र से वंचित बच्चों को उनका अधिकार दिलाने का कार्य शुरू किया गया है. डालसा सचिव राजेंद्र प्रसाद के निर्देश पर हाल ही में गांव में डोर टू डोर विधिक जागरूकता अभियान चलाया गया था. इस दौरान महिलाओं ने बताया कि उनके बच्चों के जन्म प्रमाण पत्र आज तक नहीं बने हैं, जिससे बच्चों की पढ़ाई और सरकारी योजनाओं में दिक्कतें आ रही हैं. इस समस्या को गंभीरता से लेते हुए लीगल एड क्लिनिक के पीएलवी चयन कुमार मंडल और छाकु माझी ने बच्चों के लिए जन्म प्रमाण पत्र बनवाने की जिम्मेदारी उठाई.
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बच्चों के अधिकार की लड़ाई में लीगल एड क्लिनिक की सक्रिय भागीदारी
जांच में पाया गया कि चार बच्चों का जन्म सीएचसी पोटका में अलग-अलग वर्षों में हुआ था, पर उन्हें डिस्चार्ज पेपर नहीं मिला था. पीएलवी द्वारा बच्चों के अभिभावकों से सीएचसी प्रभारी के नाम आवेदन करवाया गया. प्रभारी रजनी महाकुड़ ने मामले की गंभीरता को समझते हुए तत्काल डुप्लीकेट डिस्चार्ज पेपर तैयार करवाने का निर्देश दिया. स्वास्थ्य विभाग के कर्मियों ने समय पर पेपर तैयार कर दिए, जिसे चयन कुमार मंडल ने खुद घर जाकर बच्चों के परिवारों तक पहुंचाया.
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सीएचसी पोटका ने दिखाई तत्परता, त्वरित बना डुप्लीकेट डिस्चार्ज पेपर
बच्चों के लिए जन्म प्रमाण पत्र हेतु सभी आवश्यक दस्तावेजों के साथ आवेदन भी जमा कर दिए गए हैं. जिन बच्चों के प्रमाण पत्र बनवाए जा रहे हैं उनके नाम हैं – रीनू सरदार (पिता मादरो सरदार), शाहील सरदार (पिता रोहित सरदार), अनुश्री सरदार (पिता मादरो सरदार), और लतिका सरदार (पिता रोहित सरदार). सभी बच्चे खड़ियासाई गांव के निवासी हैं. अब उम्मीद है कि जल्द ही इन बच्चों को उनका जन्म प्रमाण पत्र मिल जाएगा और शिक्षा व सरकारी योजनाओं से जुड़ी बाधाएं दूर होंगी.