फतेह लाइव, डेस्क.

विश्वकर्मा पूजा हिंदू धर्म का एक महत्वपूर्ण पर्व माना जाता है। इसे विश्वकर्मा जयंती व विश्वकर्म दिवस के नाम से भी जाना जाता है। यह दिन ब्रह्मांड के दिव्य वास्तुकार भगवान विश्वकर्मा को समर्पित है। इस दिन लोग अपने वाहन, मशीन, औजार, कलपुर्जे, दुकान आदि की पूजा करते हैं। साथ ही घर में विभिन्न प्रकार के पूजा अनुष्ठान करते हैं। इस पर्व की तिथि को लेकर लोगों के मन में काफी कन्फ्यूजन बनी हुई है, जिसे आज हम दूर करेंगे।

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

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कब है विश्वकर्मा पूजा

वैदिक पंचांग के अनुसार, इस साल विश्वकर्मा पूजा के लिए जरूरी कन्या संक्रांति 16 सितंबर यानि आज है। इस दिन सूर्य देव शाम को 07 बजकर 53 मिनट पर कन्या राशि में प्रवेश करेंगे। परिवर्तन के समय को ही कन्या संक्रांति कहा जाता है। हिंदू धर्म में उदया तिथि मान्य होती है, इसलिए विश्वकर्मा पूजा 17 सितंबर यानी मंगलवार के दिन मनाई जाएगी।

विश्वकर्मा पूजा मुहूर्त 2024

विश्वकर्मा पूजा सुबह 06 बजकर 07 मिनट से 11 बजकर 44 मिनट तक कर सकते हैं।

विश्वकर्मा पूजा का इतिहास महाभारत और स्कंद पुराण में बताया गया है ¹. इस दिन को पूरे भारत में अलग-अलग समय पर मनाया जाता है, लेकिन सर्वमान्य परंपरा के अनुसार भाद्रपद शुक्ल प्रतिपदा कन्या की संक्रान्ति को विश्वकर्मा दिवस मनाया जाता है . विश्वकर्मा को समस्त यांत्रिक ज्ञान का प्रतीक माना जाता है और उन्हें हिंदू देवी – देवताओं के अस्त्र-शस्त्र का निर्माता माना जाता है . उनकी पूजा कर भक्त ज्ञान की प्राप्ति तथा अपनी विद्या में संपूर्णता का वरदान मांगते हैं

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