फतेह लाइव, रिपोर्टर.
लंबे अरसे के बाद ईचागढ़ के पूर्व विधायक अरविंद सिंह उर्फ़ मलखान सिंह ने मजदूरों के हक और अधिकार को लेकर आदित्यपुर मजदूर यूनियन के बैनर तले आयोजित बैठक में उद्योगपतियों और सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा की एशिया का सबसे बड़ा औद्योगिक क्षेत्र आदित्यपुर मैं लगभग 1300 छोटी बड़ी कंपनियां स्थापित है। इसमें लाखों मजदूर कार्यरत है पूंजीपतियों द्वारा मजदूर एवं ठेकेदारों का शोषण हो रहा है। श्रम कानून का खुले तौर पर उल्लंघन हो रहा है। राज्य सरकार पूरी तरह पूंजीपत्तियों की कटपूतली बनी हुई है।
सरकार की श्रम अधिनियम पूरी तरह विफल साबित हो रही है.इसका परिणाम है कि आदित्यपुर औद्योगिक क्षेत्र की पहचान रखने वाला,अब मजदूर शोषण के नाम पर विख्यात हो रहा है। वह गम्हरिया स्थित शहनाई भवन में आदित्यपुर मजदूर यूनियन के बैनर तले आयोजित बैठक में आदित्यपुर मजदूर यूनियन के बैनर तले आयोजित बैठक बोल रहे थे. अरविंद सिंह ने सरायकेला खरसावां जिले में मजदूरों के साथ हो रही शोषण पर चिंता जाहिर करते हुए कहां की मजदूरों को एकजुट होकर इस तरह के कार्यप्रणाली को उखाड़ फेंकने का संकल्प लेने की आवश्यकता है.
सिंह ने कहां औद्योगिक क्षेत्र में आजादी के 75 साल होने के बाद भी न्यूनतम मजदूरी नहीं मिल रहा है, यह दुर्भाग्यपूर्ण बात है, इससे साफ जाहिर होता है कि सरकार एवं सरकार के पदाधिकारी अपने कर्तव्यों का निष्ठा पूर्वक निर्वहन नहीं कर रहे हैं.
इससे पूर्व मजदूर नेता एसएन सिंह एवं पूर्व विधायक अरविंद सिंह के नेतृत्व में पूंजीपतियों एवं सरकार के विरोध गम्हरिया स्थित लाल बिल्डिंग से रैली निकाली गई जो टाटा कांड मुख्य सड़क होते हुए कार्यक्रम स्थल पर पहुंची. जहां सभा में तब्दील हो गई.
बैठक में एसएन सिंह, जगदीश नारायण चौबे, जवाहरलाल महाली, होनी सिंह मुंडा, प्रकाश कुमार राजू, बृजमोहन सिंह, सोखेन हेंब्रम, मजदूर नेता ओमप्रकाश सिंह, झारखंड मुक्ति मोर्चा के जिला उपाध्यक्ष महेश्वर महतो, धर्मेंद्र प्रसाद, अमित सिंहदेव, चंदन सिंह, सुनील गुप्ता, सुनील सिंह, भगवान सिंह, बबलू सरदार सहित अन्य वक्ताओं ने अपना विचार रखा और मजदूर शोषण के विरोध आंदोलन करने के लिए संकल्प लिया.