फतेह लाइव, रिपोर्टर.

 

झारखंड राज्य विधिक सेवा प्राधिकार (झालसा), रांची के निर्देश और गिरिडीह जिला विधिक सेवा प्राधिकार के अध्यक्ष एवं प्रधान जिला एवं सत्र न्यायाधीश अरविंद कुमार पांडेय तथा सचिव सोनम बिश्नोई के मार्गदर्शन में गिरिडीह में एक अभियान चलाया गया. इस अभियान का उद्देश्य समाज में फैली उन कुरीतियों को उजागर करना था, जो महिलाओं के प्रति अत्याचार का कारण बनती हैं और उनके अधिकारों का हनन करती हैं. 9 नवंबर चौक और 10 नवंबर 2024 को बस स्टैंड गिरिडीह में नुक्कड़ नाटक के माध्यम से लोगों को महिला प्रताड़ना, दहेज प्रथा, बाल विवाह और डायन प्रथा जैसी समस्याओं के खिलाफ जागरूक किया गया. यह नाटक लोगों का ध्यान इस ओर आकर्षित करने का प्रयास था कि समाज में व्याप्त इन कुप्रथाओं के शिकार लोग किस तरह से विधिक सहायता प्राप्त कर सकते हैं.

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नुक्कड़ नाटक के माध्यम से न केवल पीड़ितों के प्रति संवेदनशीलता बढ़ाने का प्रयास किया गया, बल्कि यह भी संदेश दिया गया कि पीड़ित महिलाएं किसी भी प्रकार की सहायता के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकार गिरिडीह से संपर्क कर सकती हैं. कार्यक्रम में विशेष जानकारी दी गई कि महिलाएं या उनके परिवारजन अपनी समस्याओं को साझा करने के लिए राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा प्रदान किए गए निशुल्क टोल फ्री नंबर 15100 पर कॉल कर सकते हैं. सचिव महोदय ने भी बताया कि जिले के सभी प्रखंड कार्यालयों और विभिन्न सरकारी कार्यालयों में विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा मुफ्त कानूनी सहायता केंद्र स्थापित किए गए हैं, इन केंद्रों पर पैरा लीगल वालंटियर (पीएलवी) और सचिवों के संपर्क नंबर भी उपलब्ध हैं, ताकि महिलाएं इनसे संपर्क कर अपने अधिकारों के लिए कानूनी मदद प्राप्त कर सकें.

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