- जनप्रतिनिधियों ने प्रखंड कार्यालय के समक्ष धरने की दी चेतावनी, उपायुक्त ने कार्रवाई का आश्वासन दिया
फतेह लाइव, रिपोर्टर
पूर्वी सिंहभूम जिले के पंचायत समिति सदस्य संघ और जमशेदपुर प्रखंड के प्रतिनिधियों ने उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी से मुलाकात कर विभागीय लापरवाही पर कड़ा विरोध जताया. इस अवसर पर जनप्रतिनिधियों ने पुष्पगुच्छ देकर उपायुक्त का स्वागत किया, लेकिन बातचीत जल्द ही गंभीर हुई जब उन्होंने विभागीय अधिकारियों की गैरहाजिरी और उदासीनता के खिलाफ मांग पत्र सौंपा. प्रतिनिधिमंडल ने बताया कि जिले के 11 प्रखंडों में पिछले तीन वर्षों से हो रही मासिक बैठकें विभागीय अधिकारियों के अनुपस्थित रहने के कारण निष्फल हो रही हैं. बैठकें सूचना के बावजूद अधिकारी न आने या सवालों का संतोषजनक जवाब न देने के चलते जनप्रतिनिधियों की समस्याएं अनसुनी रह रही हैं.
इसे भी पढ़ें : Giridih : राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी ने झारखंड में जिलाध्यक्षों का पुनर्गठन किया
पंचायतों में बैठक न होने से जनसुविधाओं पर असर
जनप्रतिनिधियों ने बताया कि 16 मई को भी उपायुक्त को विस्तृत ज्ञापन दिया गया था, लेकिन अभी तक कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई है. इस पर वे असंतोष जताते हुए चेतावनी दी कि यदि आगामी बैठकों में विभागीय अधिकारियों की अनिवार्य उपस्थिति सुनिश्चित नहीं हुई, तो वे प्रखंड विकास कार्यालय के सामने धरना प्रदर्शन करेंगे. उन्होंने कहा कि जनहित के मुद्दों पर सरकार की उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी. इस दौरान प्रतिनिधिमंडल में जमशेदपुर प्रखंड प्रमुख पानी सोरेन, उप प्रमुख शिव कुमार हॉसदा, पंचायत समिति संघ अध्यक्ष सतबीर सिंह बग्गा सहित कई पंचायत प्रतिनिधि मौजूद थे.
इसे भी पढ़ें : Jamshedpur : गुजराती स्कूल में मनाया गया पर्यावरण दिवस
धरना प्रदर्शन की चेतावनी से प्रशासन में हलचल
जिला उपायुक्त कर्ण सत्यार्थी ने मामले को गंभीरता से लेते हुए आश्वासन दिया कि भविष्य में सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों की उपस्थिति सुनिश्चित की जाएगी. उन्होंने स्पष्ट कहा कि पंचायत समिति सदस्य जनता द्वारा निर्वाचित प्रतिनिधि हैं और उनके सवालों का जवाब देना विभागीय अधिकारियों की जिम्मेदारी है. जो अधिकारी अनुपस्थित रहेंगे, उनके खिलाफ कड़ी प्रशासनिक कार्रवाई की जाएगी. उपायुक्त के इस बयान से जनप्रतिनिधियों को उम्मीद जगी है कि उनकी समस्याओं को जल्द हल किया जाएगा.