बारीडीह गुरुद्वारा में कुलदीप ने समर्थकों साथ दिखाई ताकत, बोले पक्ष-विपक्ष की प्रथा समाप्त करेंगे
फतेह लाइव, रिपोर्टर.
जमशेदपुर के बारीडीह गुरुद्वारा में चल रही खेला के बीच पिछले दिनों कुलदीप सिंह बुग्गे को समर्थकों ने प्रधान चुना था. उसके बाद सीजीपीसी ने संज्ञान लेते हुए बुग्गे की प्रधानगी को अवैध बताया था. इस पूरे प्रकरण के बीच मंगलवार को कुलदीप बुग्गे ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करके यह दावा किया है कि बारीडीह की संगत ने उनकी प्रधानगी को प्रवानगी दे दी है. अब वह बारीडीह कमेटी के रुके कार्यों को आगे बढ़ाएंगे. उन्होंने कहा कि कई गुरुद्वारों की कमेटियों में विवाद चल रहा है. अब वह बारीडीह गुरुद्वारा से एक पहल की शुरुआत करेंगे, जिसमें पक्ष और विपक्ष को साथ लेकर चलेंगे और पक्ष विपक्ष की प्रथा को समाप्त करेंगे. उन्हें पूरा भरोसा है कि अन्य गुरुद्वारा कमेटियां भी इस पहल का अनुसरण करेंगी, जिससे समाज में अच्छा संदेश जायेगा. बुग्गे ने कहा कि हमारे गुरुओं ने भी संगत को सर्वोपरि कहा है और यहां संगत ने उन्हें आगे किया है. ऐसे में सीजीपीसी को कुछ बोलने का अधिकार नहीं है.
सीजीपीसी के अधिकारी अपने विवेक से जो कुछ भी बोल रहे हैं. उन्होंने दावा किया कि संगत उनके साथ है. बुग्गे ने एक बड़ी बात यह भी कही कि वह टिनप्लेट, गोलमुरी और बागुननगर में भी वोटर हैं, लेकिन गुरु घर की सेवा मिलने के बाद वह पूर्ण रूप से बारीडीह की संगत के लिए समर्पित रहेंगे और कहीं भी अपना दावा नहीं करेंगे. बुग्गे ने यह भी दावा किया कि उनके मामले को लेकर सीजीपीसी से वार्ता चल रही है. आगामी आमसभा में उनके पक्ष में ही रिजल्ट आएगा, जिसके बाद अखंड पाठ साहेब रखा जायेगा और समाप्ति के बाद कमेटी का विस्तार करेंगे. सीजीपीसी के नोटिस का जवाब देने के मामले में बुग्गे ने कहा कि अभी उन्होंने कुछ जवाब नहीं दिया है. सीजीपीसी को अवगत करा दिया गया है कि उनके सलाहकार शहर से बाहर हैं.
प्रेस वार्ता में उपस्थित हरजिन्दर सिंह रिंकू ने कहा की कुलदीप सिंह को संगत ने चुना है. वह संगत को यह भरोसा दिलाना चाहते हैं कि पिछले तीन चार महीने से जो विवाद यहां चल रहा था. उसमें विराम लगाने की दिशा में पहल की जाएगी. वह सभी को साथ लेकर गुरु घर के विकास में अपनी सेवा देंगे. यहां मौजूद अन्य सदस्यों ने भी अपने विचार व्यक्त किये और कुलदीप सिंह को समर्थन देते हुए सभी को साथ लेकर चलने की बात कही गई.
इस प्रेस वार्ता में कुलदीप सिंह बुग्गे, हरजिन्दर सिंह रिंकू, सेवक सिंह, अमृत सिंह, सतपाल सिंह बंटी, करतार सिंह, सतनाम सिंह, जसवंत सिंह, राजेंद्र सिंह तरसिका, निर्मल सिंह, गुरदयाल सिंह, परमजीत सिंह, बलविंदर सिंह, सतपाल कौर, बलविंदर कौर, सतनाम कौर, महेंद्र कौर, परमजीत कौर, रूपा कौर आदि उपस्थित थे.